दिल्ली के माता चंदन देवी हॉस्पिटल में ली अंतिम सांस
पाकिस्तान से आए थे भारत -
महाशय धर्मपाल गुलाटी का जन्म 27 मार्च 1923 में पाकिस्तान के सियालकोट में हुआ था। और यहीं से उनके मसाले के कारोबार की नींव पड़ी थी। कंपनी की शुरुआत शहर में एक छोटे से दुकान से हुई, जिसे उनके पिता ने भारत पाकिस्तान विभाजन से पहले शुरू किया थ। हालांकि 1947 में देश के विभाजन के समय उनका परिवार दिल्ली आ गया था। इनके बारे में किस्सा ये भी काफी सुनने में आता है कि धर्मपाल ने दिल्ली आने के बाद एक तांगा खरीदा था। जिससे वो सवारी ढोते थे। मगर जब उससे काम नहीं चला तो फिर 1953 में चांदनी चौक में एक दुकान ली जिसका नाम रखा ‘महाशयां दी हट्टी’ । तब से ये MDH के नाम से जानी जाती है और ये कंपनी आज दुनियाभर में मसाले निर्यात करती है। 2017 में उन्हें इंडिया में किसी भी FMCG कंपनी का सबसे ज्यादा वेतन पाने वाला CEO भी घोषित किया गया था।
पद्मविभूषण से हो चुके हैं सम्मानित -
कारोबार और फूड प्रोसेसिंग में योगदान के लिए राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद ने पिछले साल महाशय धर्मपाल को पद्मविभूषण से सम्मानित किया था।
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